The CSR Journal: Maharashtra: Tuesday, 29 July 2025.
महाराष्ट्र हाउसिंग एंड एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (MHADA) ने पारदर्शिता की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए 15 करोड़ से ज्यादा सरकारी दस्तावेज अपनी वेबसाइट https://mhada.gov.in पर आम लोगों के लिए उपलब्ध कर दिए हैं। यह काम म्हाडा के उपाध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी आईएएस संजीव जायसवाल के नेतृत्व में हुआ है। उन्होंने अप्रैल 2025 में इस बात की घोषणा की थी कि सभी जरूरी दस्तावेज वेबसाइट पर अपलोड किए जाएंगे, ताकि लोगों को जानकारी के लिए अलग से RTI (सूचना का अधिकार) न लगानी पड़े।
किन-किन दस्तावेजों को देख पायेगी आम जनता?
वेबसाइट पर विभागवार
दस्तावेज अपलोड किए गए हैं। इनमें ऑफिस ऑर्डर,
सर्कुलर, टेंडर
नोटिस, मंजूरी दस्तावेज, आंतरिक टिप्पणियां और दूसरे
प्रशासनिक रिकॉर्ड शामिल हैं। हालांकि, लॉटरी या गोपनीय मामलों से
जुड़े रिकॉर्ड इसमें शामिल नहीं किए गए हैं।
कैसे मिलेगा एक्सेस?
आम नागरिक Citizen Corner सेक्शन
में जाकर रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं। रजिस्ट्रेशन के लिए नाम, मोबाइल
नंबर, जन्म तिथि, लिंग, यूज़र
आईडी और पासवर्ड देना होगा। आधार या पैन से ओटीपी वेरिफिकेशन करना जरूरी है। इसके
बाद कोई भी व्यक्ति दस्तावेज देख सकता है।
कुछ शर्तें भी हैं
दस्तावेज सिर्फ देखे जा सकते हैं, उन्हें डाउनलोड या स्क्रीनशॉट नहीं किया जा सकता। जो व्यक्ति कोई दस्तावेज देख रहा है, उसे कारण भी बताना होगा। सारी एक्सेस गतिविधियां रिकॉर्ड होती हैं ताकि जरूरत पड़ने पर प्रशासन के पास जानकारी रहे।
सुरक्षा का पूरा ख्याल
The CSR Journal से ख़ास बातचीत में MHADA के VP और CEO Sanjeev Jaiswal ने बताया कि दस्तावेजों में किसी तरह की छेड़छाड़ न हो, इसके लिए ई-सर्टिफिकेशन और SSL सिक्योरिटी लगाई गई है। पूरी वेबसाइट का साइबर सिक्योरिटी ऑडिट भी करवाया गया है। इसके साथ ही वेबसाइट को नया और यूज़र-फ्रेंडली बनाया गया है ताकि लोग आसानी से नेविगेट कर सकें।
म्हाडा की यह पहल क्यों अहम है?
पहले किसी दस्तावेज की
जानकारी के लिए नागरिकों को आरटीआई लगानी पड़ती थी। अब सीधे वेबसाइट पर लॉगिन कर
सारी जानकारी मिल सकेगी। इससे समय की भी बचत होगी और पारदर्शिता भी बढ़ेगी।
सरकार का भी मिला साथ
यह पहल महाराष्ट्र सरकार के उस निर्देश का हिस्सा है जिसमें कहा गया था कि सभी संस्थाएं Right to Public Services Act के तहत अपनी सेवाओं को डिजिटल बनाएं और जनता को अधिक सुलभ बनाएं। म्हाडा का यह डिजिटल कदम न सिर्फ पारदर्शिता को बढ़ावा देता है बल्कि लोगों की जिंदगी को आसान भी बनाता है। अब लोग घर बैठे-बैठे ही जरूरी फाइलें देख सकेंगे और सरकारी कामकाज में खुलापन महसूस कर सकेंगे। संजीव जायसवाल की यह पहल प्रशासनिक सेवा की एक बेहतरीन मिसाल बन गई है।
महाराष्ट्र हाउसिंग एंड एरिया डेवलपमेंट अथॉरिटी (MHADA) ने पारदर्शिता की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए 15 करोड़ से ज्यादा सरकारी दस्तावेज अपनी वेबसाइट https://mhada.gov.in पर आम लोगों के लिए उपलब्ध कर दिए हैं। यह काम म्हाडा के उपाध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी आईएएस संजीव जायसवाल के नेतृत्व में हुआ है। उन्होंने अप्रैल 2025 में इस बात की घोषणा की थी कि सभी जरूरी दस्तावेज वेबसाइट पर अपलोड किए जाएंगे, ताकि लोगों को जानकारी के लिए अलग से RTI (सूचना का अधिकार) न लगानी पड़े।
किन-किन दस्तावेजों को देख पायेगी आम जनता?
कैसे मिलेगा एक्सेस?
कुछ शर्तें भी हैं
दस्तावेज सिर्फ देखे जा सकते हैं, उन्हें डाउनलोड या स्क्रीनशॉट नहीं किया जा सकता। जो व्यक्ति कोई दस्तावेज देख रहा है, उसे कारण भी बताना होगा। सारी एक्सेस गतिविधियां रिकॉर्ड होती हैं ताकि जरूरत पड़ने पर प्रशासन के पास जानकारी रहे।
सुरक्षा का पूरा ख्याल
The CSR Journal से ख़ास बातचीत में MHADA के VP और CEO Sanjeev Jaiswal ने बताया कि दस्तावेजों में किसी तरह की छेड़छाड़ न हो, इसके लिए ई-सर्टिफिकेशन और SSL सिक्योरिटी लगाई गई है। पूरी वेबसाइट का साइबर सिक्योरिटी ऑडिट भी करवाया गया है। इसके साथ ही वेबसाइट को नया और यूज़र-फ्रेंडली बनाया गया है ताकि लोग आसानी से नेविगेट कर सकें।
म्हाडा की यह पहल क्यों अहम है?
सरकार का भी मिला साथ
यह पहल महाराष्ट्र सरकार के उस निर्देश का हिस्सा है जिसमें कहा गया था कि सभी संस्थाएं Right to Public Services Act के तहत अपनी सेवाओं को डिजिटल बनाएं और जनता को अधिक सुलभ बनाएं। म्हाडा का यह डिजिटल कदम न सिर्फ पारदर्शिता को बढ़ावा देता है बल्कि लोगों की जिंदगी को आसान भी बनाता है। अब लोग घर बैठे-बैठे ही जरूरी फाइलें देख सकेंगे और सरकारी कामकाज में खुलापन महसूस कर सकेंगे। संजीव जायसवाल की यह पहल प्रशासनिक सेवा की एक बेहतरीन मिसाल बन गई है।